नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल को राष्ट्रीय ग्रामीण विकास और पंचायती राज संस्थान (एनआईआरडीपीआर) और ब्रिटेन की यूनिवर्सिटी ऑफ रीडिंग (यूओआर) के बीच हस्ताक्षरित हुए एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) से अवगत करवाया गया। ये समझौता ज्ञापन विकासशील देशों में कृषि और ग्रामीण विकास के क्षेत्र में सहयोग करने को लेकर था। इस पर मार्च, 2022 में हस्ताक्षर किए गए थे।
ये समझौता ज्ञापन एनआईआरडीपीआर संकाय को ज्ञान प्राप्त करने और उसके दायरे को व्यापक बनाने में मदद करेगा। ये उनके लिए कृषि, पोषण और ग्रामीण विकास के क्षेत्र में एक अंतरराष्ट्रीय पेशेवर नेटवर्क विकसित करेगा।
दोनों संस्थान एक साथ कृषि अर्थशास्त्र, ग्रामीण विकास, आजीविका और पोषण अध्ययन के मामले में काफी मात्रा में अनुसंधान विशेषज्ञता ला सकते हैं, जो अनुसंधान और क्षमता निर्माण के उभरते अंतर-अनुशासनात्मक क्षेत्र के लिए जरूरी है।
बता दें कि एनआईआरडीपीआर ग्रामीण विकास के क्षेत्र में विभिन्न अनुसंधान गतिविधियों के संबंध में यूनिवर्सिटी ऑफ रीडिंग के साथ जुड़ा रहा है। जैसे कि ऊर्जा व्यय को मापकर पोषण मूल्यांकन में सुधार, निम्न और मध्यम आय वाले देशों में कृषि आजीविका अनुसंधान में पहनने योग्य एक्सेलेरोमेट्रिक और सेंसर आधारित उपकरणों का उपयोग, और महिला एवं बाल विकास क्षेत्र।