लोगों को तेजाब से नहलाने वाले आतंक के पर्याय बाहुबली नेता और पूर्व सांसद मो. शहाबुद्दीन की कोरोना से मौत


बिहार। राज्य के सीवान के बाहुबली नेता और पूर्व सांसद मो शहाबुद्दीन की कोरोना से मौत हो गयी है। इसकी पुष्टि तिहाड़ प्रशासन की ओर से कर दी गई है। इससे पहले सुबह से ही पूर्व सांसद के निधन की खबरें सोशल मीडिया समेत कई न्यूज पोर्टल और न्यूज चैनलों पर चलनी शुरू हो गई थी लेकिन उनके निधन की आधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई थी। हत्या के मामले में उम्र कैद की सजा काट रहे राजद के पूर्व सांसद और बाहुबली शहाबुद्दीन का आज दिल्ली के दीनदयाल उपाध्याय अस्पताल में निधन हो गया. कोरोना संक्रमित होने के बाद शहाबुद्दीन को पिछले महीने अस्पताल में भर्ती किया गया था. शहाबुद्दीन ने 19 साल की उम्र में ही इतना ख़ौफ पैदा कर दिया था कि उसके बाद शहाबुद्दीन ने अपराध की दुनिया में वो सबको चौंका दिया। चोरी, डकैती, हत्या, अपहरण, रंगदारी, दंगा, धमकाने जैसे कई मामले उस पर दर्ज थे। राजनीतिक पकड़ ने शहाबुद्दीन को इतना बड़ा बना दिया कि जेल में रहते हुए विधानसभा के चुनाव जीता और देखते-देखते सीवान का सांसद भी बना. बता दें कि शहाबुद्दीन के गुर्गे सीवान के लगभग हर दुकानदार और व्यवसायियों से वसूली करते थे. साल 2004 में एक दुकानदार के दो बेटों ने चंदा देने से साफ मना कर दिया बस फिर क्या था सतीश और गिरीश रौशन को प्रतापपुर गांव में ही पेड़ में बांधकर तेजाब से नहला दिया गया. वारदात से सनसनी फैली और इस मामले में शहाबुद्दीन सहित चार लोगों को सीवान कोर्ट ने उम्रकैद की सजा सुनाई. पटना हाईकोर्ट ने भी इस फैसले को बरकरार रखा, जिसे शहाबुद्दीन ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी. लेकिन वहां से भी उसे निराशा हाथ लगी. इसके बाद ही शहाबुद्दीन दिल्ली के तिहाड़ जेल में कैद था.