विजयदशमी पर फ्रांस में राफेल लड़ाकू विमान का शस्त्र पूजन, जानिए राफेल की दस खास बातें


भारत/फ्रांस. भारत के अपने पड़ोसी मुल्क चीन और पाकिस्तान से संबंध अच्छे नहीं हैं. दोनों से जुड़े संभावित खतरे से निपटने के लिए भारतीय वायुसेना को को 42-44 फाइटर स्क्वाड्रन की जरूरत है. पर मौजूदा समय में भारत के पास महज 32 स्क्वाड्रन हैं. 1 स्क्वाड्रन की बात करें तो उसमें 16 से 18 जेट विमान होते हैं. मिग 21 लड़ाकू विमानों के इस्तेमाल पर पाबंदी के यह संख्या और कम हो जाएगी.

पुराने होने की वजह से मिग 21 और मिग 27 के 11 स्क्वाड्रन रिटायर हो रहे हैं. सुखोई-30 और जगुआर विमान के बेड़े की सेवाएं निराशाजनक हैं. इसी बीच राफेल भारत देश की सुरक्षा के लिए आज की सबसे बड़ी जरुरत है. भारतीय वायुसेना को 'जरूरी आक्सीजन' मिलेगी.

विजयदशमी के मौके पर खुद देश के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह राफेल लाने के लिए फ्रांस में रहेंगे और पेरिस में राफेल के साथ दशहरा का 'शस्त्र पूजन' करेंगे. यानी अब राफेल जल्द हिंदुस्तान की सीमाओं फौलाद के तरह तैनात रहेगा.

 

राफेल से जुड़ी वो 10 बातें जो जानना जरुरी हैं- 

1- भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 10 अप्रैल 2015 को फ्रांस से 36 राफेल लड़ाकू विमान खरीद डील की, हालांकि भारतीय वायुसेना ने ऐसे 126 विमानों की जरुरत बताई थी.

2- फ्रांस की डेसाल्ट कंपनी द्वारा तैयार 2 इंजन वाला लड़ाकू विमान राफेल को अत्याधुनिक सर्व शक्तिमान विमानों के रूप में देखा जाता है. जो हर वक्त युद्ध में सेना का साथ निभाता है. राफेल परमाणु हमले, एंटी शिप अटैक, टोही क्षमता, क्लोज एयर सपोर्ट, एयर डिफेंस और लेजर निर्देशित लंबी दूरी की मिसाइल के हमले में भी सक्षम है. भारतीय वायुसेना की जरुरतों के मुताबिक कुछ बदलाव के साथ भारत के लिए खासतौर पर तैयार किया गया है.

3- अत्याधुनिक हथियारों के साथ मिटिओर और स्काल्प मिसाइलों से लेस राफेल भारतीय वायुसेना को हवा से हवा में मार करने की अद्भुत क्षमता प्रदान करेगा.

4- राफेल का वजन 10 टन, लम्बाई 15 मीटर, विंग स्पैन 11 मीटर और ऊंचाई 5 मीटर से अधिक है.

5- राफेल विमान हवाओं को 2,130 किमी/घंटा की रफ्तार से चीरता हुआ आगे बढने में सक्षम है.

6- 10 टन वजन वाला राफेल 24,500 किलो तक का वजन उठाकर ले जाने में सक्षम है और 3700 किमी. तक की मारक क्षमता है.

7- 4.5 जेनरेशन के ट्विन इंजन से लैस राफेल 1 ही मिनट में 60,000 फुट की ऊंचाई पर जाने में सक्षम.

8- इजरायली हेलमेट के उभार वाले डिस्प्ले, रडार वार्निंग रिसीवर, लो बैंड जैमर, दस घंटे तक की फ्लाइट डाटा रिकार्डिग, इंफ्रा-रेड सर्च और ट्रैकिंग सिस्टम जैसी कई अत्याधुनिक तकनीक से लैस.

9- विमान में फ्यूल क्षमता 17,000 किलोग्राम है. 60 घंटे अतिरिक्त उड़ान भरने की क्षमता है.

10- भारत के लिए राफेल एकमात्र विकल्प नहीं था. इस डील के लिए लॉकहेड मार्टिन का एफ-16, बोइंग एफ/ए-18 एस, यूरोफाइटर टाइफून, रूस का मिग-35, स्वीडन की साब की ग्रिपेन भी राफेल के साथ भारत ने शॉर्ट लिस्ट किए थे, लेकिन राफेल भारतीय जरुरतों के मुताबिक सबसे खरा उतरा.