प्रधानमंत्री ने ‘हार्नेसिंग यूथ पॉवर–स्किलिंग एंड एजुकेशन’ पर बजट-उपरांत वेबिनार को सम्बोधित किया


नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज ‘हार्नेसिंग यूथ पॉवर – स्किलिंग एंड एजुकेशन’ (युवाशक्ति का सदुपयोग–निपुणता और शिक्षा) पर बजट-उपरांत वेबिनार को सम्बोधित किया। केंद्रीय बजट 2023 में घोषित होने वाली पहलों के कारगर क्रियान्वयन के लिये सुझाव और विचार आमंत्रित करने के क्रम में सरकार द्वारा आयोजित 12 बजट-उपरांत वेबिनारों में से यह तीसरा वेबिनार है। उपस्थितजनों को सम्बोधित करते हुये प्रधानमंत्री ने रेखांकित किया कि कौशल और विकास, भारत के अमृत काल के दौरान दो प्रमुख उपकरण हैं तथा ये युवा ही हैं, जो विकसित भारत का सपना लेकर देश की अमृत यात्रा का नेतृत्व कर रहे हैं। अमृत काल के पहले बजट में युवा और उनके भविष्य पर दिये जाने वाले विशेष बल को रेखांकित करते हुये प्रधानमंत्री ने कहा कि इस वर्ष का बजट शिक्षा प्रणाली को अधिक व्यावहारिक और उद्योगोन्मुख बनाकर उसकी बुनियाद को मजबूत करता है। प्रधानमंत्री ने पिछले वर्षों में शिक्षा प्रणाली में लचीलेपन के अभाव पर अफसोस प्रकट किया और इसमें बदलाव लाने के लिये सरकार द्वारा किये जाने वाले प्रयासों का उल्लेख किया। प्रधानमंत्री ने कहा, “युवाओं की सहज योग्यता और भविष्य की मांग को ध्यान में रखकर शिक्षा और निपुणता को नई दिशा दी जा रही है।” उन्होंने आगे कहा कि नई शिक्षा नीति के अंग के रूप में शिक्षा और निपुणता, दोनों पर समान जोर दिया जा रहा है तथा उन्होंने इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की कि इस पहल से शिक्षकों का समर्थन मिला है। प्रधानमंत्री ने कहा कि अतीत के नियम-कानून के बोझ से छात्रों को मुक्त करने के साथ-साथ सरकार शिक्षा और कौशल विकास सेक्टरों में आगे और सुधार करेगी।