देहरादून. एक बड़े राजनीतिक घटनाक्रम के तहत उत्तराखंड (Uttarakhand) के सीएम तीरथ सिंह रावत (Tirath Singh Rawat) ने शुक्रवार रात गवर्नर बेबी रानी मौर्य (Baby Rani Maurya) को अपना इस्तीफा सौंप दिया है. जिसके बाद उत्तराखंड में नया मुख्यमंत्री चुना जाना तय हो गया है. बीजेपी ने भी राज्य विधान मंडल दल की शनिवार को बैठक बुलाई है, जिसमें सीएम के नए चेहरे का ऐलान किया जा सकता है.
सीएम की कुर्सी संभालने के बाद अपने बयानों को लेकर चर्चा में रहे तीरथ सिंह रावत और उनकी सरकार की हरिद्वार कुंभ को लेकर भी किरकिरी हुई थी. अभी महज चार महीने ही तो हुए थे जब पौड़ी गढ़वाल सीट से सांसद तीरथ सिंह रावत को बीजेपी ने सूबे का सीएम बनाया था. 10 मार्च को सूबे की कमान संभालने वाले तीरथ सिंह रावत को चार महीने भी नहीं हुए कि उन्हें सीएम पद से इस्तीफा देना पड़ गया.
सूत्रों की मानें तो रावत ने नड्डा को भेजे अपने पत्र में लिखा था कि सीएम बनने के बाद छह महीने के अंदर विधानसभा की सदस्यता लेनी थी लेकिन आर्टिकल 151 के मुताबिक विधानसभा चुनाव में एक साल से कम का समय बचा हो तो उपचुनाव नहीं कराए जा सकते. उत्तराखंड में संवैधानिक संकट खड़ा ना हो, इसके लिए मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना चाहता हूं.