नई दिल्ली. बिहार चुनाव टालने से सुप्रीम कोर्ट के इनकार के तुरंत बाद चुनाव आयोग ने चुनाव की तारीखों का ऐलान कर दिया. कोरोना महामारी के बीच चुनाव टालने की अर्जी पर SC सुनवाई से इनकार किया. जिसके तुरंत बाद चुनाव आयोग एक्टिव मोड़ पर आ गया और तारीखों का ऐलान किया. मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने चुनाव तारीखों का ऐलान करते हुए बताया कि चुनाव की सभी तैयारियों के लिए आयोग तैयार है.
कोरोना वायरस महामारी के बीच देश में यह पहला राज्य चुनाव होगा. बिहार में 243 सदस्यीय मौजूदा विधानसभा का कार्यकाल 29 नवंबर को खत्म हो रहा है.
1- तीन चरणों में होंगे विधानसभा चुनाव. पहले चरण का मतदान 28 अक्टूबर, दूसरे चरण का मतदान 3 नवंबर, तीसरे चरण का मतदान 7 नवंबर को होगा. चुनाव के नतीजे 10 नवंबर आएंगे.एक बूथ पर एक हजार से ज्यादा मतदाता वोट नहीं डाल सकेंगे.
2 - बिहार विधानसभा में कुल 243 सीटों पर विधानसभा चुनाव होगा.
3- कुल 7 करोड़ 18 लाख मतदाता. 3 करोड़ 79 लाख पुरुष मतदाता. 3 करोड़ 39 लाख महिला मतदाता.
4- कोरोना संक्रमण को देखते हुए 6 लाख फेस शील्ड का इंतज़ाम किया जाएगा. 7 लाख सेनिटाइजर, 46 लाख मास्क का किया जाएगा इंतज़ाम. 6 लाख PPE किट का किया जाएगा इस्तेमाल.
5- सुबह 7:00 बजे से लेकर शाम 6:00 बजे तक मतदान होगा.
6- कोरोना संक्रमित अपने मतदान का कर सकेंगे प्रयोग. उनके लिए अलग से की जाएगी विशेष व्यवस्था.
7- चुनावी रैलियां और सभाएं सिर्फ वर्चुअल तरीके से आयोजित होंगी. प्रत्याशी ऑनलाइन नामांकन भर सकेंगे वही ऑफलाइन नामांकन के लिए सिर्फ दो लोगों को प्रवेश की इजाजत होगी.
8- 5 से ज्यादा लोग घर-घर प्रचार-प्रसार के लिए नहीं जा सकेंगे.
9- बिहार में आज से आदर्श चुनाव आचार संहिता लागू.
10- मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने कहा कि बिहार चुनाव देश के सबसे बड़े राज्यों में है और ये चुनाव कोरोना काल का सबसे बड़ा चुनाव है. इसे लेकर काफी मंथन किया गया.
बता दें कि 2015 का बिहार विधानसभा चुनाव नीतीश कुमार ने राजद और कांग्रेस के साथ महागठबंधन में लड़ा था. हालांकि, लालू परिवार पर भ्रष्टाचार के आरोप लगने के बाद महज दो साल के अंदर ही उन्होंने गठबंधन से किनारा कर लिया और भाजपा के साथ गठबंधन में शामिल हो गए. -बिहार चुनाव में इस बार मुकाबला दिलचस्प होने वाला है. जहां मुख्यमंत्री नीतीश कुमार चौथे कार्यकाल के लिए भाजपा और एनडीए गठबंधन के साथ चुनाव में उतरेंगे, वहीं विपक्षी राजद इस बार सजा काट रहे पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव और उनके बेटे तेजस्वी यादव के नेतृत्व में उन्हें चुनौती देगी. कांग्रेस का भी राजद के साथ चुनाव लड़ना तय है, हालांकि दोनों के बीच ही सीट बंटवारे पर चर्चा नहीं हुई है.