भारत में गधों की संख्या घटी, 18% बढ़ कर गाय की आबादी 14.51 करोड़ हुई


नई दिल्ली.भारत में गधों की आबादी 61.23 फीसदी घटकर महज 1.2 लाख रह गई.गायों की संख्या में 18% बढ गई है. अब देश में गायों की संख्या बढ़ कर 14.51 करोड़ हो गई है. 20वीं पशुगणना रिपोर्ट में यह खुलासा हुआ है. बड़ी बात यह है कि देश में मुर्गियों की संख्या 85.18 करोड़ हो गई है, तो देश में भैंसों की संख्या महज 1% बढ़ी है. पहली बार भारत में टैबलेट की मदद से पशुगणना की गई थी. गौरतलब है कि भारत में हर पांच साल पर पशुगणना होती है. भारत में पहली बार 1919-20 में पशुगणना हुई थी. इसके बाद दूसरी पशुगणना 1924-25 में. आजादी के बाद प्रथम पशुधन गणना 1951 में आयोजित की गई. 2007-12 में हुई 19वीं यानी पिछली पशुगणना के मुकाबले 20वीं पशुगणना में सभी पशुधन की आबादी 4.6 फीसदी की वृद्धि के साथ 53.57 करोड़ हो गई है. हालांकि यह वृद्धि उस स्तर की नहीं जितने प्रयास पशुधन संवर्द्धन के लिए किए गए लेकिन यह बढ़ोत्तरी देश के लिए अच्छे संकेत कहे जा सकते हैं.

रिपोर्ट से जुड़े 10 बड़े फैक्ट:

1- गधों की आबादी 61.23 फीसदी घटकर महज 1.2 लाख रह गई.

2- भैंस, भेड़, बकरे की आबादी बढ़ी है, तो सूअर, घोड़े, खच्चर और ऊंट की आबादी घटी है. देश के कुल पशुधन में बकरे की तादाद 27.8 फीसदी, भेड़ की 13.87 फीसदी, गोधन की 35.94 फीसदी और भैंस की 20.45 फीसदी है.

3- भारत में भैंस की आबादी पिछली पशुगणना के मुकाबले करीब 1 फीसदी बढ़कर 10.98 करोड़ हो गई है.

4- दुधारू पशुओं (गाय और भैंस) की आबादी 6 फीसदी बढ़कर 12.53 करोड़ हो गई है.

5- कुल देसी गोधन की संख्या 6 प्रतिशत घट गई है. 2012-2019 के दौरान देसी गोधन की आबादी में गिरावट की दर बीती पशुगणना 2007-12 के मुकाबले 9% से कम है.

6- देश में भेड़ों की संख्या बीती पशुगणना के मुकाबले 14.1 फीसदी बढ़कर करीब 7.43 करोड़ हो गई है.

7- बकरों की आबादी 10.1 फीसदी बढ़कर करीब 14.89 करोड़ हो गई है जबकि सूअर की संख्या 12.03 फीसदी घटकर 90.6 लाख हो गई है.

8- मिथुन की आबादी 30 फीसदी बढ़कर 3.9 लाख जबकि याक की आबादी 24.67 फीसदी घटर 58,000 रह गई है.

9- देश में घोड़ों और टट्टओं की आबादी 45.6 फीसदी घटकर 3.4 लाख रह गई है. खच्चर की कुल आबादी 57.1 फीसदी घटकर 84,000 रह गई.

10- ऊंट की आबादी भी 37.1 फीसदी घटकर महज 2.5 लाख रह गई. देश में पोल्ट्री यानी कुक्कुटों (मुर्गा-मुर्गी) की आबादी 16.8 फीसदी बढ़कर 85.18 करोड़ हो गई है. बैकयार्ड पोल्ट्री की आबादी 45.8 फीसदी बढ़कर 31.70 करोड़ और कमर्शियल पोल्ट्री की आबादी 4.5 फीसदी बढ़कर 53.47 करोड़ हो गई है.