जयपुर। पूर्व मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे ने कहा है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत 2023 में होने वाली हार से भयभीत होकर झूठ बोल रहे हैं। उन्होंने उन गृहमंत्री अमित शाह पर आरोप लगाया है,जिनकी ईमानदारी और सत्य निष्ठा सर्व विदित है। राजे ने कहा कि रिश्वत लेना और देना दोनो अपराध हैं,यदि उनके विधायकों ने पैसा लिया है तो एफआईआर दर्ज करवाएँ। सच तो यह है कि अपनी ही पार्टी में हो रही बग़ावत और रसातल में जाते जनाधार के कारण बौखलाहट में उन्होंने ऐसे अमर्यादित और असत्य आरोप लगाएँ है। पूर्व सीएम ने कहा कि विधायकों की ख़रीद फ़रोख़्त की जहाँ तक बात है, इसके महारथी तो स्वयं अशोक गहलोत हैं।जिन्होंने 2008 और 2018 में अल्पमत में होने के कारण ऐसा किया था।उस वक्त न भाजपा को बहुमत मिला था और न ही कांग्रेस को।उस समय चाहते तो हम भी सरकार बना सकते थे,पर यह भाजपा के सिद्धांतों के ख़िलाफ़ था।इसके विपरीत गहलोत ने अपने लेन देन के माध्यम से विधायकों की व्यवस्था कर दोनो समय सरकार बनाई थी। मुख्यमंत्री के द्वारा मेरी तारीफ़ करना मेरे ख़िलाफ़ उनका एक बड़ा षड्यंत्र है।मेरा जितना जीवन में अपमान गहलोत ने किया कोई कर ही नहीं सकता।वे 2023 के चुनाव में होने वाली ऐतिहासिक हार से बचने के लिए ऐसी मनगढ़ंत कहानियाँ गढ़ रहें है,जो दुर्भाग्य पूर्ण है पर उनकी ये चाल कामयाब होने वाली नहीं है।
बता दें कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने एक कार्यक्रम में कांग्रेस के सचिन पायलट गुट पर हमला किया और साथ ही बीजेपी को भी निशाना बनाया. उन्होंने कहा कि, ''जब भैरो सिंह शेखावत की सरकार थी और मैं कांग्रेस का प्रदेश अध्यक्ष था तब शेखावत की सरकार गिराने के लिए बीजेपी वाले मेरे पास आए थे, लेकिन मैंने मना कर दिया था.'' उन्होंने सचिन पायलट पर निशाना साधते हुए कहा कि, ''जब मेरी सरकार गिराने (सचिन पायलट की बगावत) की बारी आई तो शोभा रानी, वसुंधरा राजे और कैलाश मेघवाल ने मेरी मदद की.' हालांकि अशोक गहलोत का यह बयान सचिन पायलट गुट पर हमले के साथ-साथ बीजेपी में दरार पैदा करने की कोशिश वाला बयान माना जा रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि, ''एमएलए शोभा रानी बहुत बोल्ड लेडी हैं. शोभा रानी ने जब साथ दिया हमारा, तो भाजपा वालों की हवा उड़ गई. शोभा रानी ने, वसुंधरा राजे सिंधिया ने और कैलाश मेघवाल ने. कैलाश मेघवाल को मालूम था, वसुंधरा राजे को मालूम था.''